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    October 14, 2025

    फ्लैट और किराए के घर में रहने वालों को भी सोलर पावर का लाभ, आयोग ने दी मंजूरी

    राजस्थान विद्युत विनियामक आयोग (RERC) ने वर्चुअल नेट मीटरिंग (VNM) और ग्रुप नेट मीटरिंग (GNM) व्यवस्था को मंजूरी दे दी है। इस फैसले से अब किराए पर रहने वाले लोग, फ्लैट मालिक और हाउसिंग सोसाइटी के सदस्य भी सोलर ऊर्जा का लाभ उठा सकेंगे — चाहे उनके पास अपनी छत न हो।

    अब तक छत की अनुपलब्धता के कारण किराएदार और अपार्टमेंट निवासी सोलर लाभ से वंचित थे। आयोग ने स्पष्ट किया है कि सोलर पैनल अब केवल छत तक सीमित नहीं रहेंगे, इन्हें बालकनी, जमीन, जलाशयों या किसी ऊंचे ढांचे पर भी लगाया जा सकेगा।

    कई चार्जों में राहत

    VNM और GNM व्यवस्था के तहत घरेलू और सरकारी उपभोक्ताओं को बड़ी राहत दी गई है। इन पर बैंकिंग चार्ज, ट्रांसमिशन चार्ज, व्हीलिंग चार्ज, क्रॉस सब्सिडी सरचार्ज और एडिशनल सरचार्ज लागू नहीं होंगे।
    हालांकि सरकारी कनेक्शनों पर कुछ मामलों में 50% सरचार्ज रहेगा। यदि उपभोक्ता के पास Battery Storage System (BESS) है, तो उसे 75% तक छूट मिलेगी।

    पीएम सूर्य घर योजना से भी मिलेगा फायदा

    RERC ने कहा है कि यदि कोई उपभोक्ता वर्चुअल या ग्रुप नेट मीटरिंग सिस्टम को पीएम सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना की गाइडलाइन के अनुरूप लगाता है, तो वह केंद्र सरकार की फ्री बिजली योजना का भी लाभ ले सकेगा।

    इस फैसले से अब सोलर पावर का फायदा सिर्फ मकान मालिकों तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि किराएदार और सोसाइटी उपभोक्ता भी इसका हिस्सा बन सकेंगे। साथ ही, 10 किलोवाट तक के सिस्टम के लिए तकनीकी जांच की अनिवार्यता खत्म कर दी गई है।

    सोलर लगाने के तीन तरीके

    • स्वयं स्थापना: उपभोक्ता खुद सिस्टम खरीदकर लगाएं।
    • सरकारी स्थापना: सरकारी विभाग द्वारा सोलर सिस्टम लगवाना।
    • RESCO मॉडल: निजी कंपनी सोलर सिस्टम लगाएगी और उपभोक्ता से तय बिल वसूलेगी।

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